हम किसी को क्यों पसंद करते है ? 

हम किसी को क्यों पसंद करते है ?

आपके स्कूल के दोस्त, आपकी प्रेमिका, आपका सबसे अच्छा मित्र, आपकी पड़ोसन, आप उन्हें पसंद करते है, कभी सोचा है क्यों ? कुछ तो है जिसे आप नहीं जानते है | सिर्फ ये वो सब लोग अच्छे है या बहुत कुछ है जो आप लोगो को करीब लाता है |

हमारे आस पास के लोग या चीज़े हमे जयादा पसंद आते है, हमारी कॉलोनी, हमारा स्कूल, हमारा कॉलेज, हमारा शहर | ऐसा हो है नहीं की की दूसरे कॉलेज, स्कूल, शहर अच्छे नहीं नहीं या वहां पर अच्छे लोग नहीं है | ये सब हमारा दिमाग निश्चित करता है और इसका जिम्मेदार है हमारा बचपन, हमारे संस्कार, हमारे माँ, पिताजी और अपना घर |
हम किसी को क्यों पसंद करते है ३ चीज़ो पर निर्भर करती है –

 

  • समानता
  • करीब होना
  • उनका अच्छा दिखना

 

समानता – 

 

कभी सोचा है की आप किसी को जयादा पसंद करते है जो आपके जैसा है या वो जो आपके विपरीत है | हम अपने सामान लोगो को हमेशा जयादा पसंद करते है | जब हम अपने जैसे लोगो से मिलते है हम तुरंत घुल मिल जाते है जैसे की आप भी मुंबई से है और मैं भी और अगर हम दोनों दिल्ली में मिले तो हमारी जोड़ी जम जाएगी, शहर के बातें होगी, मराठी में सम्बोधन होगा, एक अपनापन लगेगा | हम कभी इतना अपनापन किसी दिल्ली वाले के साथ तो नहीं दिखाते है | क्योकि एक समानता है जो, एक डोर है जो हमे बाँध के रखती है | जो हमारे जैसे रहते हो, दिखते हो, पढ़े लिखे हो, ये लोग हमे आकर्षित करते है |  ये धारणा की हमे विपरीत संस्कृति, विचारो के लोग आकर्षित करते है गलत है |

 

२००३ में नेशनल अकादमी ऑफ़ साइंसेज ने पता लगाया की हम उन लोगो के साथ रोमांस करना चाहते है जिनके विचार हमसे मिलते हो |२००९ में जर्नल ऑफ़  पर्सनालिटी  एंड  सोशल  साइकोलॉजी ने पता लगाया की शादी के बाद वो लोग जयादा खुश होते है जिनकी पर्सनालिटी मिलती है, इस अध्ययन के अनुसार जिन लोगो के विचार मिलते है वो लड़ाई कम करते है और जयादा सुखी होते है |

 

नेव्कब जो की एक शोधकर्ता थे, ने एक अध्ययन किया था १९५० में , उसे १७ आदमियो को एक हॉस्टल में रख दिया, जब वो वहां रहने गए तो उनसे परिवार, सेक्स, राजनीती और कई विषयो पर कुछ सवाल पूछे गए | कुछ महीने रहने के बाद ये सवाल उनसे फिर से पूछे गए, उनके सबसे प्रगाढ़ मित्र वो थे जिनके विचार मिलते थे | आदमियो ने उनको जयादा पसंद किया जिनके विचार उनसे मिलते थे | यहाँ पर उन्होंने ये साबित कर दिया की हम जाने अनजाने उन्ही लोगो से मित्रता करते है जो हमारे जैसा सोचते हो |

 

हम उन्हें क्यों पसंद करते है जो हमारे जैसे होते है क्योंकि –

 

जब कोई हमारे समर्थन करता है तो हमे अच्छा लगता है | हमे जो अच्छा लगता है अगर वो उसे भी अच्छा लगता है तो बात बन जाती है, हमे लगता है हमारा साथी भी हमारे जैसा है, हम अपने आप को उसमे देखते है | लड़ाई कम होती है, हमे पता होता है हमे जो पसंद है वो उसे भी पसंद आएगा.

 

करीब होना – 

 

अपने बचपन को टटोले, फिर वही पुरानी यादे, जरा सोचे आप किस व्यक्ति को याद कर पाते है, वो जो आपके साथ बैठा है या फिर वो आपसे दूर क्लास के दूसरे कोने में बैठा है | आप मानेगे हम जिस को पसंद करते है ? उसका करीब कोने से गहरा नाता है |

 

हम उन लोगो को जयादा पसंद करते है जो हमारे आसपास होते है, हमे वो अपने लगते है जो ऑफिस में, स्कूल में हमारे पास बैठे होते है | वो लोग हमे कम पसंद आते है जो लोग हमसे दूर बैठे होते है या फिर किसी और क्लास में पढ़ते है |

 

हॉस्टल, स्कूल, पडोस, के दोस्त हमारे उम्रभर के लिए अच्छे दोस्त बन जाते है | मेरे सबसे अच्छे दोस्त वो थे जो मेरे पडोसी थे, मैं उनके साथ सबसे जयादा रहा, खेलता था, त्यौहार मनाता था, पढ़ता था | पड़ोस में एक लड़की भी थी, उससे सुबह शाम बात करना, साथ घूमना, गाने सुनना और सिनेमा देखना खूब हुआ | फिर एक दिन उसने मुझसे प्यार का इज़हार कर दिया, मैंने भी जवानी के जोश में कुबूल कर लिया | तब वो मुझे बहुत सुन्दर लगती थी, कुछ दिनों बाद मैं पढाई के लिए शहर से दूर चल गया और जब मैं उससे दो साल बाद मिला तब वो मुझे उतनी अच्छी नहीं लगी जितनी की पहले लगती थी, अब मुझे अपने कॉलेज के दोस्त जयादा भाते थे | जब हम किसी से दूर चले जाते है तब हम उनके मन से भी दूर हो जाते है |

 

नूकब जो एक महान सोशल  साइकोलोजिस्ट थे अमेरिका में, उन्होंने ये सबसे पहले लिखा की करीब होने पर हम किसी को पसंद करते है | अमेरिका के एम आई टी कॉलेज में एक अध्ययन किया गया है और ये १९५० में हुआ था. इसे करने वाले शोध्कर्ता थे फेस्टिन्गेर, सचचतेर और बैक | उन्होंने २७० विद्यार्थियों को एक ही हॉस्टल में रहने के लिए कहा | कुछ महीनो बाद सभी विद्यार्थियों से पुछा गया की उनका सबसे अच्छा दोस्त कौन है तो उन्होंने कहा

 

वो इसी हॉस्टल में है – ६५%

 

वो साथ वाले कमरे में रहता है – ४०%

 

वो दो कमरो बाद रहता है – २२%

 

वो तीन कमरो के बाद रहता है – १६%

 

वो चार कमरो के बाद रहता है – १०%

 

या पर ये साबित हो जाता है की करीब रहने का असर तो होता है | इसलिए अगर आपको कोई पसंद है और वो आपसे दूर है जो उसके आस पास रहने की कोशिश करे, वो कॉलेज में दूसरी क्लास में है तो आप भी उस क्लास में जाये  अगर वो संगीत सिखने जाती है तो आप भी जाये, वो जितना आप को देखेगी उतना आप के बारे में सोचेगी |

 

पर ये इतना असरदार क्यों है, क्यों हमे वही पसंद आता है जो हमारे आस पास जयादा रहता है, क्योंकि शायद हम उन्हें जानते है, वो हमे नुकसान नहीं पहुँचायेंगे, हम उनके साथ सुरक्षित महसूस करते है | एक और पहलु है जो लोग अपने जीवन के बारे में कुछ बताते है हम उन्हें जयादा पसंद करते है, बजाये उनके की जब लोग अपने बारे में कम बताते है, और अगर वो सुन्दर होते है तो हमे प्यार भी हो सकता है |

 

सुंदरता – 

 

ये बताने की जरूरत नहीं है जब हम किसी को पसंद करते है उसका सुंदरता से नाता है | हमारे विकास क्रम में ये बात उभर कर आती है की हम एक सुन्दर व्यक्ति को जयादा पसंद करते है | सुंदरता बताती है की हम कितने स्वस्थ है, एक स्वस्थ साथी ही आपको एक अच्छा बच्चा दे सकता है |

 

हम सोचते है अगर कुछ सुन्दर है तो वो अच्छा है, से सब पर लागू है जैसे की घर, कार, और व्यक्ति भी | सुन्दर व्यक्ति हम समझते है की वो समझदार है, मेहनत करने वाला है, जयादा कमाता है|

 

दिओन, बेरश्चेिड और वालस्टर ने एक शोध किया १९७२ में , उन्होंने कुछ विद्यार्थियों को कुछ फोटो दे दिए और कहा की उन्हें आंके सुन्दर, एवरेज और बुरा दिखने वाले को | विद्यार्थियों को इन लोगो के बारे में पूछा गया की वो इन्हे कैसे लगते है, तो ये पता चला की जो फोटो सुन्दर व्यक्ति की थी, उन्हें सामाजिक, समझदार, स्वस्थ, अच्छा और सुलझा हुआ माना गया | वो सबको पसंद भी आया और लोग उससे मिलने के लिए भी राज़ी हो गए |

 

लोग सुन्दर लोगो को जयादा देखते है, उनसे जयादा बाते करते है | हम सुन्दर लोगो पर जयादा धयान देते है |

 

अब आप जान चुके है की आप कैसे और क्यों पसंद करते है किसी को, अगर आप किसी को रिझाना चाहते है तो इन बाते का ख्याल रखे. जितना जयादा आप किसी के करीब होते है उन्ही ही जयादा आसान हो जाता है उनका आपको पसंद करना | तो अच्छे लोगो को चुने, उनके करीब रहे, सब साथ मिल कर धमाल करे और अच्छे दिखे | जो दोस्ती, मित्रता, प्यार आपको मिलेगा वो अतुलनीय है | अगर आपको ये लेख अच्छा लगा तो इसे शेयर करे |

 

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By Sahi Tarika

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